जहरीली शराब हत्याकांड: अब तक 106 की मौत, दर्जनों अभी तक अस्पतालों में भर्ती
सहारनपुर।
यूपी और उत्तराखंड में जहरीली शराब से मरने वालों की संख्या बढ़कर 106 हो गई है। इनमें 74 सहारनपुर जिले और 32 लोग हरिद्वार जिले के हैं। बीती रात दोनों राज्यों के मुख्यमंत्री मीटिंग माय तय किया गया कि दोनों राज्यों की पुलिस संयुक्त रूप से हादसे की जांच करेगी। यूपी सरकार ने मामले की मजिस्ट्रेटी जांच के आदेश दिए हैं। इन मौतों के बाद नींद से जागा प्रशासन ताबड़तोड़ छापेमारी कर रहा है। मामले में सहारनपुर, कुशीनगर के पुलिस कप्तानों दिनेश पी. और राजीव नारायण मिश्रा को भी हटाया जा सकता है।
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राज्य सरकार की सख्ती के बाद प्रशासन ने अवैध शराब बनाने और बेचने वालों के खिलाफ अभियान चलाया। कई जगह शराब की भट्ठियां पकड़ीं और लहन बरामद किया। सहारनपुर में अब तक 39 लोगों को गिरफ्तार किया जा चुका है, जबकि 35 एफआईआर दर्ज की गई हैं। हरिद्वार में प्रशासन और आबकारी विभाग की टीमें दोषियों की धरपकड़ में जुटी हैं। टीम ने बाल्लुपुर गांव में खेतों से शराब बनाने का सामान जब्त किया है। सहारनपुर के थाना नागल, गागलहेड़ी और देवबंद के 16 गांवों के लोग जहरीली शराब की चपेट में आए हैं। सहारनपुर में शनिवार शाम तक मरने वाले 49 लोगों के शवों का पोस्टमार्टम हुआ था। वहीं, मेरठ में भर्ती 27 में 19 लोगों की मौत हुई है।
आखिरकार आबकारी मंत्री ने माना, यूपी में बिकती है कच्ची शराब
हालांकि डीएम, एसएसपी ने बताया कि शनिवार सुबह 10 बजे तक 46 शवों के पोस्टमार्टम हुए। इनमें 36 की मौत शराब के कारण हुई, जबकि 10 की मौत का कारण विसरा जांच की रिपोर्ट आने पर पता चलेगा। दूसरी ओर, हरिद्वार के भगवानपुर तहसील क्षेत्र के बिंडुकखड़क, बाल्लुपुर, जहाजगढ़ समेत छह से अधिक गांवों के लोग जहरीली शराब का शिकार हुए हैं। बिंडुकखड़क के छह लोगों की शनिवार को मौत हो गई। गंभीर हालत के चलते 50 लोगों को रुड़की के सिविल अस्पताल से हायर सेंटर रेफर किया गया है। इन लोगों ने तेरहवीं के भोज से लौटते वक्त शराब खरीदी थी। हालांकि, प्रशासन आधिकारिक तौर पर 21 लोगों के मरने की ही पुष्टि कर रहा है।
इन पर कार्रवाई
कुशीनगर में आबकारी अधिकारी समेत 6 और सहारनपुर में आबकारी अधिकारी समेत चार लोगों को निलंबित किया गया है। इससे पहले शुक्रवार को भी कई लोगों को निलंबित किया गया था। इनमें पुलिसकर्मी भी शामिल हैं।